सिक्के के दो पहलू होते हैं- चित और पट, बिना पहलुओं के सिक्का हो ही नहीं सकता। ठीक इसी तरह हर बात के दो मतलब होते हैं एक सकारात्मक और दूसरा नकारात्मक। तो सोशल मीडिया के दोनों तरह के प्रभाव होते हैं- फल दायक और नुकसान दायक। नुकसान दायक कुछ ज्यादा ही हैं।
डिजिटल क्रिमिनल्स द्वारा आये दिन ऑनलाइन फ्रॉड करने के नए नए तरीके इज़ाद किये जाते हैं. बीते कुछ दिनों से जो नई तरह की धोखेबाजी सामने आ रही है वह है- न्यूड वीडियो कॉल वाली धोखेबाजी।
इसमें खासतौर पर लड़कियां और कुछ मामले में लड़के भी विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपोजिट जेंडर के युवकों युवतियों को रिझाते हैं. रिझाने के कई तरीके हो सकते हैं वो आपसे बैंक एम्प्लोयी बन कर भी चैट कर सकते हैं. आम तौर पर सामान्य लड़का या लड़की बन कर चैट शुरू करते हैं फिर अचानक से वीडियो कॉल मिला देते हैं. जैसे ही आप वीडियो कॉल उठाएंगे वो धीरे-धीरे वस्त्र हीन होना शुरू हो जाएंगे। हो सकते है आप इस खूबसूरत पल का आनंद उठाने की सोचें और उसके मनमुताबिक आचरण करने लगें। कुछ देर में कॉल कट होगी। और फिर आपके ऊपर उस वीडियो कॉल के स्क्रीनशॉट्स / उसके छोटे रिकार्डेड वीडियोस की बौछार कर दी जाएगी। और आपसे कहा जायेगा कि ये स्क्रीन शॉट्स वायरल कर दिए जाएंगे आपके दोस्तों के साथ शेयर कर दिए जाएंगे। आप चाहते हैं कि ऐसा न हो तो हमें फलां फलां अमाउंट ट्रांसफर करें।
तो ये होती है पूरी कहानी।
कुछ लोग इज़्ज़त बचाने के एवज में मुंह मांगी रकम भेज भी देते हैं। कुछ लोग समझदार होते हैं जो पुलिस/ साइबर पुलिस से मामले की कंप्लेंट करते हैं।
और कुछ लीजेंड होते हैं जो इस घटना को अंजाम तक पहुंचने ही नहीं देते पहले ही समझदारी से काम लेते हैं और ऐसे किसी का भी वीडियो कॉल रिसीव नहीं करते।
मीडिया संस्थान आज तक की वेबसाइट में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक, ताज़ा मामला बिहार से सामने आया जिसमें एक लड़की ने एक बीमा एजेंट को अपना शिकार बना लिया, वीडियो कॉल के दौरान के शॉर्ट वीडियोस देख कर बीमा एजेंट के होश उड़ गए। लड़की ने 50 हज़ार की डिमांड रखी। हालांकि सैकड़ों धमकियों के बावजूद बीमा एजेंट ने पैसे ट्रांसफर किए बिना मामले की कंप्लेंट दर्ज करा दी है। हालांकि इस तरह के मामले पूरे देश से सामने आ रहे हैं लेकिन ज्यादातर मामले बिहार से ही हैं।