सिर्फ 9 अमीरों के पास है देश के आधे लोगों के बराबर संपत्ति!
Edited By- Ashish Urmaliya | The CEO Magazine
साल 2018 में भारत के अरबपतियों की संपत्ति में 2200 करोड़/प्रतिदिन के हिसाब से इजाफा हुआ है। इस वर्ष देश के एक प्रतिशत शीर्ष दौलतमंदों के खजाने में 39 फीसदी की वृद्धि हुई है, जबकि देश की 50 प्रतिशत गरीब आबादी के धन में महज तीन प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई है। ये आंकड़े ऑक्सफैम द्वारा किये गए अध्ययन में बताये गए हैं।
क्या है ऑक्सफेम?
ऑक्सफैम 90 से अधिक देशों में भागीदारों के साथ काम करने वाले 20 एनजीओ's का एक अंतर्राष्ट्रीय संघ है। 1942 में स्थापित इस संघ का मुख्य उद्देश्य गरीबी का कारण बनने वाली अनैतिकताओं को समाप्त करना है।
अब बात करते हैं ऑक्सफैम द्वारा जारी की गई इस खास रिपोर्ट की, इसके अनुसार भारत के 9 सबसे अमीर व्यक्तियों की संपत्ति, देश की 50 प्रतिशत गरीब आबादी की संपत्ति के बराबर है। जैसा कि विदित है, स्विट्ज़रलैंड के जेनेवा में वर्ल्ड इकनोमिक फोरम की मीटिंग (21 जनवरी से 25 जनवरी तक) चल रही है। इससे एक दिन पहले ऑक्सफैम की आई यह रिपोर्ट सभी देशों के लिए चर्चा का विषय बन सकती है।
इस अध्ययन के मुताबिक, पिछले साल दुनियाभर के अरबपतियों की संपत्ति में 12 प्रतिशत की बढ़त आई है, जबकि दुनिया की 50 प्रतिशत गरीब आबादी की संपत्ति में 11 प्रतिशत की गिरावट। दुनिया के आर्थिक आधार पे कोई रिपोर्ट तैयार की जाए और उसमें दुनिया के सबसे अमीर शख्स का जिक्र न हो ऐसा कैसे हो सकता है। आक्सफैम ने रिपोर्ट में कहा कि, अमेजन के संस्थापक जेफ बेजोस की संपत्ति इस साल बढ़कर 140 बिलियन डॉलर हो गयी है। जो यूथोपिया के हेल्थ बजट के बराबर है। आक्सफैम ने वर्ल्ड इकनोमिक फोरम की चल रही बैठक में दुनिया के सभी नेताओं से आग्रह किया है कि, वे अमीरों और गरीबों के बीच बन रही बड़ी खाई को भरने के लिए तुरंत कदम उठायें वर्ना यह बढ़ती असमानता अर्थव्यवस्थाओं को चौपट कर देगी और दुनिया भर में जन आक्रोश पैदा होगा।
बात की जाए भारत की तो, देश की सबसे गरीब 10 प्रतिशत आबादी (13.6 करोड़ लोग) साल 2004 से कर्जदार बने हुए हैं। वहीं देश की सबसे अमीर 10 प्रतिशत आबादी के पास देश की कुल संपत्ति का 77.4 प्रतिशत हिस्सा है। हैरत की बात ये है कि, लगभग 135 करोड़ की आबादी वाले देश की मात्र एक प्रतिशत लोगों के पास देश की कुल संपत्ति का 51.53 प्रतिशत हिस्सा है और 60 प्रतिशत आबादी के पास केवल 4.8 प्रतिशत। ऑक्सफैम के अनुमान के मुताबिक, साल 2018 से 2022 के बीच देश में हर रोज 70 नए करोड़पति बनेंगे। जैसा की, पिछले साल देश में 18 नए अरबपति बने और इसी के साथ देश में अरबपतियों की संख्या बढ़कर 119 हो गयी है।
ऑक्सफैम इंडिया के CEO अमिताभ बेहर ने चिंता जताते हुए कहा है कि, इस आर्थिक असमानता से सबसे ज्यादा महिलाएं प्रभावित हो रही हैं। इस संघ की राष्ट्रीय कार्यकारी निदेशक विनी ब्यानिमा ने भी इस विषय पर चिंता जताई है और कहा है कि, "यह नैतिक रूप से क्रूर है। भारत में जहां एक तरफ गरीब आबादी दो वक्त की रोटी और बच्चों की दवाओं के लिए जूझ रही है। वहीं कुछ अमीरों की संपत्ति लगातार बढ़ती जा रही है। यदि एक प्रतिशत अमीरों और देश के 50 प्रतिशत गरीबों के बीच यह अंतर बढ़ता गया तो इससे देश की सामाजिक और लोकतांत्रिक व्यवस्था पूरी तरह चरमरा जाएगी।"