Agriculture

स्वामित्व योजना को समझिए, गांवों की प्रॉपर्टी की ड्रोन से मैपिंग

Manthan

Ashish Urmaliya | Pratinidhi Manthan

11 अक्टूबर 2020 यानी बीते रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वामित्व योजना की शुरुआत की. इस योजना के तहत ग्रामीण भारत में आवासीय जमीनों को ड्रोन के जरिए मैप कराया जाएगा. इससे गांवों में संपत्ति के स्वामित्व को लेकर स्पष्टता आएगी साथ ही लोग इन सम्पत्तियों को गिरवी रखकर लोन भी ले पाएंगे। जैसा कि हम सभी जानते हैं भारत की दो तिहाई आबादी गांवों में रहती है जहां अधिकतर लैंड रिकॉर्ड्स व्यवस्थित व स्पष्ट नहीं हैं तो प्रॉपर्टी को लेकर विवाद भी आम बात रहती है. आये दिन गांवों से खबर आती रहती है कि जमीनी विवाद एक चलते झगड़ा हो गया. इस योजनाके चलते इस समस्या से भी काफी हद तक छुटकारा मिलेगा.

प्रधानमंत्री ने 'स्वामित्व योजना की जानकारी देने के लिए वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग की और स्वामित्व कार्डों का वितरण शुरू किया. इस योजना की शुरआत करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि यह ग्रामीण भारत को बदलने वाला एक 'ऐतिहासिक कदम' है. उन्होंने बताया कि इस पहल से ग्रामीण जन अपनी जमीन और संपत्ति को वित्तीय पूंजी के तौर पर इस्तेमाल कर पाएंगे, अपनी ज़मीन और संपत्ति के एवज में वे बैंकों से कर्ज और अन्य वित्तीय लाभ उठा सकेंगे. साथ ही उन्होंने कहा कि इससे ग्रामीणों में भूस्वामित्व को लेकर विवाद भी समाप्त होगा। कुल  संपत्ति से जुड़े विवाद और सभी तरह के घोटालों का अंत होगा.

ड्रोन टेक्नोलॉजी का होगा इस्तेमाल-

ग्रामीण क्षेत्र की जमीनों को मैप करने के लिए सरकार ड्रोन टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करेगी। मोदी ने बताया कि अगले 4 वर्षों में 6 लाख 20 हजार गांवों को कवर करने का लक्ष्य रखा गया है. इसी महीने 750 गांवों के करीब 1 लाख लोगों को स्वामित्व (प्रॉपर्टी) कार्ड मिल जाएगा। बता दें,  हर एक प्रॉपर्टी कार्ड में आधार कार्ड की तरह ही एक यूनीक नंबर होगा.

प्रधानमंत्री ने स्वामित्व (ग्रामीण क्षेत्रों में उन्नत तकनीक के साथ गांवों का सर्वेक्षण और मानचित्रण) योजना के कई लाभार्थियों से बातचीत भी की थी और कहा कि यह देश को 'आत्मनिर्भर बनाने' की दिशा में एक बड़ा कदम है. उन्होंने स्वामित्व योजना की महत्ता को रेखांकित करते हुए कहा, "दुनियाभर के विशेषज्ञों ने इस बात पर जोर दिया है कि संपत्ति स्वामित्व अधिकार देश के विकास में अहम भूमिका निभाते हैं." इसीलिए मोदी ने इस योजना पर विशेष ज़ोर दिया.

प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात की जानकारी भी दी कि विश्वभर में केवल एक-तिहाई जनसंख्या के पास ही उनकी संपत्ति का कानूनी रिकॉर्ड है. उन्होंने कहा कि गांवों में रह रहे युवा अब अपनी संपत्तियों के आधार पर बैंकों से ऋण भी ले सकते है, साथ ही भूमि स्वामित्व के स्पष्ट अधिकार भारत जैसे विकासशील देश के लिए आवश्यक हैं. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि संपत्ति अधिकार युवाओं को आत्मविश्वास देगा, जिसके चलते वे आत्मनिर्भर बनने में सक्षम होंगे.

763 गावों को मिलेगी सुविधा-

इस योजना के लाभार्थी प्रमुख रूप से देश के छह राज्यों के 763 गांवों से हैं. इनमें उत्तर प्रदेश के 346, हरियाणा के 221, महाराष्ट्र के 100, मध्य प्रदेश के 44, उत्तराखंड के 50 और कर्नाटक के दो गांव शामिल हैं. मोदी के बताए अनुसार, उनकी सरकार आगामी तीन-चार साल में हर परिवार को इसी प्रकार के संपत्ति कार्ड मुहैया कराने की कोशिश करेगी. प्रधानमंत्री ऑफिस (PMO) ने कहा कि स्वामित्व योजना की शुरुआत में करीब एक लाख संपत्ति मालिक अपनी संपत्ति से जुड़े कार्ड अपने मोबाइल फोन पर प्राप्त एसएमएस लिंक के जरिए डाउनलोड कर पाएंगे. इसके उपरांत संबंधित राज्य सरकारें संपत्ति कार्डों का भौतिक वितरण भी करेंगी.

प्रधानमंत्री स्वामित्व योजना की शुरुआत के दौरान जब बोल रहे थे, तो उनके पार्श्व में 'लोकनायक जयप्रकाश नारायण और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विचारक नानाजी देशमुख की तस्वीरें थीं. इन दोनों महँ आत्माओं की बीते रविवार को जयंती भी थी. प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर गांवों के सशक्तीकरण में दोनों नेताओं के योगदान और आदर्शों को याद किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि नानाजी देशमुख ने कहा था कि जब तक गांव के लोग विवादों में घिरे रहेंगे, तब तक वे न तो अपना विकास कर पाएंगे और ना ही समाज व देश के विकास में भूमिका निभा पाएंगे. प्रधानमंत्री ने कहा कि उनका मानना है कि स्वामित्व योजना  गांवों में कई विवादों को समाप्त करने का बड़ा माध्यम बनेगी। साथ ही उन्होंने कहा कि पिछले छह साल में गांवों में अभूतपूर्व विकास हुआ है, जो इससे पहले के छह दशक में नहीं हुआ. उन्होंने कहा कि गांवों में लोगों को बैंक खाता, गैस कनेक्शन, बिजली कनेक्शन, शौचालयों तक पहुंच, पक्का मकान और पेयजल के लिए पाइप कनेक्शन जैसी सुविधाएं मिली हैं. मोदी ने यह जानकारी भी दी कि देश के हर गांव को ऑप्टिकल फाइबर कनेक्शन से जोड़ने की बड़ी मुहिम भी तेजी से आगे बढ़ रही है. उन्होंने कहा कि 'स्वामित्व योजना नगर पालिकाओं और नगर निगमों की तरह ग्राम पंचायतों के लिए गांवों का प्रबंधन व्यवस्थित तरीके से आसान बनाएगी. निःसंदेह यह योजना मोदी की तरफ से ग्रामीण क्षेत्रों के लिए अतुलनीय देन है.

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